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वंदे भारत ट्रेन की शुरुआत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गांधीनगर शहर के रेलवे स्टेशन से की थी।

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वंदे भारत ट्रेन की शुरुआत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गांधीनगर शहर के रेलवे स्टेशन से की थी।  इस अवसर पर मुख्यमंत्री श्री भूपेन्द्रभाई पटेल,  केन्द्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव,  राज्यपाल श्री आचार्य देवव्रतजी,  प्रदेश अध्यक्ष श्री सी.आर. पाटिल,  मध्य रेल राज्य मंत्री दर्शनाबेन जरदोश उपस्थित थे।

दैनिक राशिफल

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 दैनिक पंचांग और दैनिक राशिफल  दिनांक :01 - 10 - 2022(शनिवार) सूर्योदय :06.22 am सूर्यास्त  :06.10 pm सूर्य राशि :कन्या चन्द्रोदय :11.27 am चंद्रास्त :10.17 pm चन्द्र राशि :वृश्चिक 3.11 am तक, बाद में धनु विक्रम सम्वत :विक्रम संवत 2079 अमांत महीना :आश्विन 6 पूर्णिमांत महीना :आश्विन 21 पक्ष :शुक्ल 6 तिथि :षष्ठी 8.47 pm तक, बाद में सप्तमी मां कात्यायनी का मंत्र ॐ देवी कात्यायन्यै नम:॥ मां कात्यायनी का प्रार्थना मंत्र चन्द्रहासोज्ज्वलकरा शार्दूलवरवाहना। कात्यायनी शुभं दद्याद् देवी दानवघातिनी॥ मां कात्यायनी स्तुति मंत्र या देवी सर्वभूतेषु मां कात्यायनी रूपेण संस्थिता। नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नम:॥ मां कात्यायनी का ध्यान मंत्र वन्दे वाञ्छित मनोरथार्थ चन्द्रार्धकृतशेखराम्। सिंहारूढा चतुर्भुजा कात्यायनी यशस्विनीम्॥ स्वर्णवर्णा आज्ञाचक्र स्थिताम् षष्ठम दुर्गा त्रिनेत्राम्। वराभीत करां षगपदधरां कात्यायनसुतां भजामि॥ पटाम्बर परिधानां स्मेरमुखी नानालङ्कार भूषिताम्। मञ्जीर, हार, केयूर, किङ्किणि, रत्नकुण्डल

दैनिक राशिफल

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दैनिक पंचांग और दैनिक राशिफल  दिनांक :30 - 09 - 2022(शुक्रवार) सूर्योदय :06.21 am सूर्यास्त  :06.11 pm सूर्य राशि :कन्या चन्द्रोदय :10.22 am चंद्रास्त :09.24 pm चन्द्र राशि :वृश्चिक विक्रम सम्वत :विक्रम संवत 2079 अमांत महीना :आश्विन 5 पूर्णिमांत महीना :आश्विन 20 पक्ष :शुक्ल 5 तिथि :पंचमी 10.35 pm तक, बाद में षष्ठी नवरात्रि के पर्व में मां दुर्गा के 9 अलग अलग स्वरूपों की पूजा होती है. मां दुर्गा के पांचवें स्वरूप में स्कंदमाता की पूजा करते हैं. स्कंदमाता को मां दुर्गा का मातृत्व परिभाषित करने वाला स्वरूप माना जाता है. स्कंदमाता के चार भुजाएं हैं जिनमें दांयी तरफ की ऊपरी भुजा में भगवान स्कंद गोद में लिए हैं और नीचे की भुजा में कमल पुष्प थामे हैं जबकि बांयी तरफ की ऊपरी भुजा वरमुद्रा में और नीचे की भुजा में कमल है. स्कंदमाता का वाहन शेर है। स्कंदमाता की कथा पौराणिक मान्यता के अनुसार तारकासुर नाम के एक राक्षस ने भगवान ब्रह्मा जी को प्रसन्न करने के लिए कठोर तपस्या की. उसकी कठोर से प्रसन्न होकर ब्रह्मा जी ने उसे दर्शन दिए